रणनीतिक एयरोस्पेस नौसैनिक इलेक्ट्रॉनिक युद्ध जैसी प्रौद्योगिकियां प्रमुख
प्रौद्योगिकी विकास निधि योजना के तहत स्वदेशी प्रौद्योगिकियां विकसितस्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम
Saturday 6 December 2025 12:37:53 PM
नई दिल्ली। रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने प्रौद्योगिकी विकास निधि (टीडीएफ) योजना केतहत विकसित सात महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियां तीनों सेनाओं को सौंप दी हैं। इन प्रौद्योगिकियों में एयरबोर्न सेल्फ प्रोटेक्शन जैमर्स केलिए स्वदेशी उच्च वोल्टेज विद्युत आपूर्ति, नौसेना जेटी केलिए ज्वार कुशल गैंगवे, उन्नत अति निम्न आवृत्ति उच्च आवृत्ति स्विचिंग मैट्रिक्स प्रणालियां, पानी के नीचे प्लेटफार्मों केलिए वीएलएफ लूप एरियल, तीव्र अवरोधक शिल्प केलिए स्वदेशी वॉटरजेट प्रणोदन प्रणाली, प्रयुक्त लिथियम आयन बैटरियों से लिथियम प्रीकर्सर्स की पुनर्प्राप्ति की नई प्रक्रिया और दीर्घकालीन पानी के भीतर संवेदन एवं निगरानी अनुप्रयोगों केलिए दीर्घ जीवन समुद्री जल बैटरी प्रणाली शामिल हैं।
भारतीय रक्षा उद्योग ने इन सभी प्रौद्योगिकियों को डीआरडीओ के विशेषज्ञों एवं तीनों सेनाओं के घनिष्ठ सहयोग व मार्गदर्शन में डिजाइन, विकसित और व्यापक परीक्षणों के माध्यम से तैयार किया है। यह सफलता आयात प्रतिस्थापन एवं महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियों के स्वदेशी विकास पर टीडीएफ योजना के केंद्रीकृत ध्यान को रेखांकित करती है। रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ समीर वी कामत की अध्यक्षता में 2 दिसंबर को डीआरडीओ भवन दिल्ली में डीआरडीओ की अधिकार प्राप्त समिति की बैठक हुई थी, जिसमें सशस्त्र बलों, रक्षा उत्पादन विभाग और डीआरडीओ के वरिष्ठ प्रतिनिधियों ने भी भाग लिया। डीआरडीओ की अधिकार प्राप्त समिति ने परियोजना प्रस्तावों की व्यापक श्रृंखला पर विस्तृत विचार विमर्श किया और सामरिक, एयरोस्पेस, नौसैनिक तथा इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रौद्योगिकियों से संबंधित 12 नई परियोजनाओं को मंजूरी प्रदान की। ये स्वीकृतियां घरेलू क्षमता निर्माण को गति देने और महत्वपूर्ण एवं उभरते प्रौद्योगिकी क्षेत्रोंमें विदेशी स्रोतों पर निर्भरता कम करने की निरंतर प्रतिबद्धता को उजागर करती हैं।
डीआरडीओ की अधिकार प्राप्त समिति ने टीडीएफ के अंतर्गत विभिन्न श्रेणियों की परियोजनाओं के अनुमोदन दृष्टिकोण पर विचार विमर्श किया। इसने सेवाओं की उभरती रणनीतिक एवं तकनीकी आवश्यकताओं के अनुरूप समयबद्धता सुनिश्चित करने केलिए योजना की परियोजनाओं के शुरू से अंततक प्रसंस्करण में तेजी लाने की आवश्यकता पर बल दिया है। समिति ने सफलतापूर्वक विकसित प्रौद्योगिकियों के रोडमैप और उसके पश्चात होने वाली अधिग्रहण प्रक्रियाओं को अधिक सुव्यवस्थित एवं निर्बाध रूपसे क्रियांवित करने के उपायों पर विमर्श किया। विकसित प्रौद्योगिकियों के त्वरित समावेशन और उनके परिचालनात्मक परिनियोजन को सुनिश्चित करने हेतु समिति ने आवश्यक नीतिगत संरेखण तथा सक्षम संस्थागत तंत्रों को सुदृढ़ बनाने की सिफारिश की। डीआरडीओ अध्यक्ष ने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए टीडीएफ योजना के तीव्र और परिणामोन्मुख क्रियांवयन से आत्मनिर्भर भारत के दृष्टिकोण केतहत स्वदेशी रक्षा नवाचार को सुदृढ़ करने केप्रति सरकार की प्रतिबद्धता की पुष्टि की।